हर रंग जमाने का देखा बचपन का रंग सुहाना था
टूटते थे खिलौने हाथोँ मेँ हमारा प्यार पर दीवाना था
मनमानी कर जाते अपनी पर नाराज ना दोस्ताना था
भुलने का डर नहीँ था हमेँ बस यादोँ का फसाना था
चलती थी बस अपनी ना कि किसी का चलाना था
रुठ कर खुद हीँ मन जाते वो ऐसा हमारा जमाना था
एक जमाना ऐसा प्यारा बचपन अपना जमाना था
टूटते थे खिलौने हाथोँ मेँ हमारा प्यार पर दीवाना था
मनमानी कर जाते अपनी पर नाराज ना दोस्ताना था
भुलने का डर नहीँ था हमेँ बस यादोँ का फसाना था
चलती थी बस अपनी ना कि किसी का चलाना था
रुठ कर खुद हीँ मन जाते वो ऐसा हमारा जमाना था
एक जमाना ऐसा प्यारा बचपन अपना जमाना था
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